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सहजन रस के गुण

सहजन प्रकृति के अत्यंत गुणकारी खाद्य पदार्थों में  अनन्य स्थान पर है| यह एक प्रकार की हरी सब्जी है जो ज्यादातर भारत के उत्तर प्रांतों में पाई जाती है| अंग्रेजी में इससे ड्रमस्टिक अथवा मोरिंगा कहा जाता है| भारत सहजन का सबसे बड़ा उत्पादक है तथा इसका प्रयोग आयुर्वेद के क्षेत्र में बहुत सालों से किया जा रहा है| सहजन इतना गुणकारी है कि इसके बारे में जितनी तारीफ की जाए उतनी कम है| मोरिंगा के लिए यह कहावत मशहूर है –

” सहजन अति फूले फले तबहूँ डारपात की हानि”

सहजन वृक्ष की फलियां, छाल, पत्ते, फल तथा फूल इन सब की उपयोगिताओं का कोई अंत नहीं है| इन्हें हम सब्ज़ी तथा औषधि की तरह सेवन कर सकते हैं तथा लेप या मरहम की तरह भी इस्तेमाल कर सकते हैं। सहजन के पेड़ का लगभग हर एक अंग मानव जाति के लिए कुदरत का चमत्कार है।

सहजन में  पाए जाने वाले पोषक तत्व-

सहजन के पेड़ के अलग-अलग हिस्सों में 200 से भी अधिक रोगों की रोकथाम के गुण है| इसमें 92 तरह के मल्टीविटामिन, 46 तरह के एंटी ऑक्सीडेंट, 36 तरह के दर्द निवारक तथा 18 तरह के अमीनो एसिड्स मिलते हैं। इसमें कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन कैल्शियम, पोटेशियम, आयरन, मैग्नीशियम, विटामिन ए, सी और बी कंपलेक्स अधिक मात्रा में है। दूध की तुलना में, 100 ग्राम सहजन के पत्ते में 4 गुना कैल्शियम तथा दुगना प्रोटीन पाया जाता है।

औषधिय गुण-

सहजन के औषधीय गुणों का प्रयोग कुछ इस प्रकार है-

– सहजन के रस का सेवन करने से उच्च रक्तचाप (High Blood Pressure) तथा कोलेस्ट्रोल का स्तर नियंत्रण में रहता है।

– मोटापा तथा शरीर की बढ़ी हुई चर्बी को दूर करने के लिए मोरिंगा अथवा सहजन एक लाभदायक औषधि माना गया है। कैलोरी जलाने तथा वजन कम करने के लिए आप सहजन रस अपने आहार में शामिल कर सकते हैं।

–  सहजन में एंटीबैक्टीरियल, एंटी फंगल तथा एंटीवायरल गुण, प्रदूषण, पसीना और कुछ रसायनिक उत्पादों की वजह से, त्वचा में हानिकारक पदार्थों के प्रभाव को बेअसर कर त्वचा को जवान रखने में सहायता करता है।

  • सहजन रस का एक चम्मच रोजाना सेवन करने से आपकी पाचन से जुड़ी सभी समस्याएं जैसे हैजा, दस्त, पेचिश, पीलिया, कोलाइटिस दूर हो सकती है।

– सहजन में सूजन तथा दर्द को कम करने वाले गुण होते हैं जिनकी वजह से इससे शरीर में विभिन्न प्रकार के दर्द से राहत मिलती है।

– सहजन की पत्तियों को पीसकर सिर पर लगाने से माइग्रेन से परेशान व्यक्ति के सिर का दर्द भी ठीक हो जाता है|

– इसके रस को पान करने से खून साफ होता है, आंखों की रोशनी तेज होती है तथा यह सर्दी जुकाम जैसी बीमारियों के लिए भी अत्यंत लाभदायक है|